लखनऊ: Yogi Cabinet 2.0 Oath Ceremony, list of ministers शुक्रवार को योगी आदित्यनाथ ने लगातार दूसरी बार उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली। योगी के बाद विधानसभा चुनाव हार गए केशव प्रसाद मौर्य ने डिप्टी सीएम के रूप में शपथ ली। दूसरे डिप्टी सीएम के रूप में दिनेश शर्मा को ड्रॉप कर इस बार बृजेश पाठक ने शपथ ली है। योगी कैबिनेट 2.0 में मुख्यमंत्री सहित दो उप मुख्यमंत्रियों सहित 50 मंत्रियों ने लखनऊ के इकाना स्टेडियम में राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई।
योगी कैबिनेट 2.0 के मेगा शपथग्रहण समारोह में प्रधानमंत्री मोदी, गृहमंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा के अलावा कई राज्यों के मुख्यमंत्रियों, पूर्व मुख्यमंत्रियों और केन्द्रीय मंत्री पहुँचे। उत्तरप्रदेश के राजनीतिक इतिहास में 37 साल बाद ऐसा हुआ है जब पांच साल सरकार चलाने के बाद किसी दल ने दोबारा सत्ता हासिल की है।
लखनऊ की सरकार पर दिल्ली की छाप!
निःसंदेह दोबारा मुख्यमंत्री की शपथ लेने के साथ योगी आदित्यनाथ पहले से कहीं ज्यादा ताकतवर हो चुके है लेकिन योगी सरकार 2.0 के शपथग्रहण से यह मैसेज भी साफ हो गया है कि मोदी-शाह की पूरी छाप नई सरकार पर दिखती है। लखनऊ से दिल्ली तक भाजपा कॉरिडोर्स में खूब चर्चा होती रही कि चुनाव हारे डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य को योगी आदित्यनाथ सरकार का हिस्सा नहीं बनाना चाहते हैं लेकिन मोदी-शाह के एजेंडे में 2024 के लिहाज से सामाजिक समीकरण साधने की चुनौती थी। लिहाजा सूबे में पार्टी के सबसे बड़े ओबीसी चेहरे और शाह के बेहद करीबी समझे जाने वाले केशव प्रसाद मौर्य को हारने के बावजूद डिप्टी सीएम की शपथ दिलाई गई।
वैसे इसकी पटकथा उसी दिन लिख दी गई थी जब उत्तराखंड में चुनावी हार के बावजूद पुष्कर सिंह धामी को ही दोबारा विधायक दल का नेता चुनकर मुख्यमंत्री की शपथ दिला दी गई थी। उसी दिन भाजपा कॉरिडोर्स में मान लिया गया था कि उत्तराखंड में धामी की ताजपोशी के जरिए मोदी-शाह ने यूपी में मौर्य के लिए मार्ग बनाने का मैसेज योगी आदित्यनाथ को दे दिया था। तो क्या धामी की ताजपोशी केशव प्रसाद मौर्य का मार्गप्रशस्त कराने के मकसद से ही की गई? जाहिर है ऐसे किसी निष्कर्ष पर अभी पहुंचना जल्दबाज़ी होगी।
लखनऊ की सरकार पर दिल्ली के असर की तस्वीर अरविंद कुमार शर्मा की योगी मंत्रिमंडल में दस्तक से भी हो जाता है। प्रधानमन्त्री मोदी के खासमखास नौकरशाह रहे एके शर्मा को यूपी भेज तो काफी पहले ही दिया गया था लेकिन तब योगी के आगे दाल नहीं गल पाई। अब कैबिनेट मंत्री शर्मा को मुख्यमंत्री योगी किस तरह के विभाग देते हैं उससे उनके वज़न का असल अहसास होगा।
उत्तराखंड की राज्यपाल रही बेबी रानी मौर्य को अचानक राजभवन से बुलाकर दलित चेहरे के तौर पर यूपी की राजनीति में उतारने का फैसला भी दिल्ली यानी शाह का ही माना जाता है।अब उनको योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री के तौर पर शपथ दिलाई गई है। कांग्रेस से आए जितिन प्रसाद को भी योगी कैबिनेट 2.0 में कैबिनेट मंत्री बनाया गया है।
दरअसल, योगी कैबिनेट के जरिए मोदी-शाह ने मिशन 2024 को टारगेट करते हुए क्षेत्रीय, जातीय और सामाजिक समीकरण साधने का भरसक प्रयास किया है। कहावत भी है कि दिल्ली की सत्ता का रास्ता लखनऊ से होकर ही जाता है और मोदी-शाह इस गणित को बखूबी समझते हैं। यही वजह है कि योगी के चाहने न चाहने की परवाह किए बिना हारे केशव प्रसाद मौर्य को दोबारा डिप्टी सीएम बनाया गया है और कैबिनेट में ओबीसी और दलित चेहरों को जगह भी 2024 का रास्ता आसान बनाने को दी गई है।
योगी कैबिनेट 2.0 में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के अलावा दो डिप्टी सीएम, 16 कैबिनेट मंत्री, 14 स्वतंत्र प्रभार के मंत्री और 20 राज्य मंत्रियों ने पद और गोपनीयता की शपथ ली है। योगी कैबिनेट 2.0 में पिछली सरकार के कई कद्दावर मंत्रियों को जमीन दिखा दी गई है। डिप्टी सीएम रहे दिनेश शर्मा, सतीश महाना, सिद्धार्थ नाथ सिंह और श्रीकांत शर्मा जैसे नेता इस बार शपथ से चूक गए हैं।
जानिए योगी कैबिनेट 2.0 में कौन-कौन मंत्री बने ?
योगी आदित्यनाथ- मुख्यमंत्री
केशव मौर्य- उप मुख्यमंत्री
बृजेश पाठक- उप मुख्यमंत्री
सुरेश कुमार खन्ना- कैबिनेट मंत्री
सूर्य प्रताप शाही- कैबिनेट मंत्री
स्वतंत्र देव सिंह- कैबिनेट मंत्री ( फिलहाल पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष हैं)
बेबी रानी मौर्य- कैबिनेट मंत्री ( उत्तराखंड की राज्यपाल रह मौर्य यूपी में भाजपा का दलित चेहरा)
लक्ष्मी नारायण चौधरी- कैबिनेट मंत्री
जयवीर सिंह- कैबिनेट मंत्री
धर्मपाल सिंह- कैबिनेट मंत्री
नंद गोपाल नंदी- कैबिनेट मंत्री
भूपेद्र चौधरी- कैबिनेट मंत्री
अनिल राजभर- कैबिनेट मंत्री
जितिन प्रसाद- कैबिनेट मंत्री
राकेश सचान- कैबिनेट मंत्री
अरविंद कुमार शर्मा- कैबिनेट मंत्री ( PM मोदी के करीबी नौकरशाह रहे)
योगेंद्र उपाध्याय- कैबिनेट मंत्री
आशीष पटेल- कैबिनेट मंत्री (केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल के पति, अपना दल (एस) के प्रदेश अध्यक्ष)
संजय निषाद- कैबिनेट मंत्री ( निषाद पार्टी के अध्यक्ष)
नितिन अग्रवाल — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
कपिल देव अग्रवाल — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
रवींद्र जायसवाल — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
संदीप सिंह — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
गुलाब देवी — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
गिरीश चंद्र यादव — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
धर्मवीर प्रजापति — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
असीम अरुण — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
जेपीएस राठौर — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
दयाशंकर सिंह — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
नरेंद्र कश्यप — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
दिनेश प्रताप सिंह — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
3अरुण कुमार सक्सेना — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
दयाशंकर मिश्र ‘दयालु’ — राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)
मयंकेश्वर सिंह — राज्यमंत्री
दिनेश खटीक — राज्यमंत्री
संजीव गोंड — राज्यमंत्री
बलदेव सिंह ओलख — राज्यमंत्री
अजीत पाल — राज्यमंत्री
जसवंत सैनी — राज्यमंत्री
रामकेश निषाद — राज्यमंत्री
मनोहर लाल मन्नू कोरी — राज्यमंत्री
संजय गंगवार — राज्यमंत्री
बृजेश सिंह — राज्यमंत्री
के पी मलिक — राज्यमंत्री
सुरेश राही — राज्यमंत्री
सोमेंद्र तोमर — राज्यमंत्री
अनूप प्रधान ‘वाल्मीकि’ — राज्यमंत्री
प्रतिभा शुक्ला — राज्यमंत्री
राकेश राठौर गुरू — राज्यमंत्री
रजनी तिवारी — राज्यमंत्री
सतीश शर्मा — राज्यमंत्री
दानिश आजाद अंसारी — राज्यमंत्री
विजय लक्ष्मी गौतम — राज्यमंत्री