Adda Explainer: मंगलवार को देश की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली NDA 3.0 का पहला बजट पेश किया। वित्त मंत्री ने अपने बजट पिटारे के जरिए सैलरीड क्लास से लेकर पेंशनर्स, किसान, नौजवान और महिलाओं सहित सभी वर्गों के लिए कुछ न कुछ बड़े ऐलान किए हैं। इनकम टैक्स की नई रिजीम में रेट में बदलाव किया है जिससे मिडिल क्लास नौकरीपेशा को सालाना साढ़े 17हजार तक का फायदा हो सकता है।
Tax Payers को थोड़ी राहत
वित्त मंत्री ने बजट 2024 के जरिए इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने वाले नौकरीपेशा लोगों को थोड़ी राहत दी है लेकिन यह फायदा सिर्फ नई टैक्स रिजीम अपनाने वालों को जी मिलेगा। इनकम टैक्स स्लैब्स के नए बदलाव बाद अब तीन लाख तक की आमदनी पर कोई टैक्स नहीं देना होगा। तीन लाख से सात लाख के बीच आमदनी वालों को पांच प्रतिशत इनकम टैक्स देना होगा। जबकि 7 लाख से ऊपर 10 लाख तक आमदनी पर 10 प्रतिशत, 10 लाख से ऊपर 12 लाख तक आमदनी पर 15 प्रतिशत और 12 लाख से ऊपर 15 लाख तक आमदनी पर 20 प्रतिशत तथा 15 लाख से ऊपर आमदनी करने पर 30 प्रतिशत इनकम टैक्स की दर लगेगी।
सरकार ने अब स्टैंडर्ड डिडक्शन को 50 हजार से बढ़ाकर 75 हजार रुपए कर दिया है।
- कैसे होगा फायदा ?
इनकम टैक्स एक्सपर्ट्स की मानें तो नई टैक्स प्रणाली में स्लैब्स में बदलाव से आम नौकरीपेशा को 17,500 रु तक का फायदा हो सकता है। मान लीजिए राम की सालाना सैलरी 10 लाख रुपए बनती है और उन्होंने इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करने के लिए नई टैक्स स्लैब को चुना हुआ है। अब अगर बीते साल को बात करें तो राम ने अपनी दस लाख की आमदनी पर इनकम टैक्स और सेस जोड़कर कुल 54,600 रुपए इनकम टैक्स चुकाया था। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन के आज के टैक्स स्लैब्स में बदलाव के बाद अब राम को अपनी उसी आमदनी पर इनकम टैक्स और सेस लगाकर कुल 44,200 रुपए चुकाने होंगे।
- इसे यूं समझिए
पिछले साल कितना टैक्स कैसे भरा ?
राम की आमदनी 10 लाख है। बीते वर्ष 50 हजार रुपए का स्टैंडर्ड डिडक्शन मिला, तो आय रह गई साढ़े 9 लाख रु। इस आमदनी में तीन लाख तक इनकम टैक्स नहीं लगेगा। इससे ऊपर छह लाख तक पांच प्रतिशत टैक्स यानी 15 हजार रूपए का इनकम टैक्स। पिछले साल 6 लाख से 9 लाख रुपए तक 10 प्रतिशत टैक्स था यानी इस पर 30 हजार रुपए का टैक्स लगा। इसके बाद बचे 50 हजार पर 15 प्रतिशत की दर से इनकम टैक्स देना होगा। इस तरह अगर राम की सालाना आय पर कुल इनकम टैक्स जोड़ें तो 52,500 रु बनता है जिसमें चार प्रतिशत सेस जोड़ें तो 2100 रु बढ़ाकर यह कुल 54,600 रुपए बनता है जो राम को देना पड़ा।
नई टैक्स स्लैब से क्या फर्क पड़ेगा ?
जैसा कि ऊपर माना है कि राम की आमदनी इस साल भी 10 लाख ही है। बजट 2024 में वित्त मंत्री ने इस साल स्टैंडर्ड डिडक्शन को 50 हजार से बढ़ाकर 75 हजार कर दिया है जिसे घटाने पर राम की टैक्सेबल आय बची सवा 9 लाख रुपए। इसमें से तीन लाख तक इनकम टैक्स जीरो रहेगा। जबकि तीन लाख से 7 लाख तक पांच प्रतिशत की दर से इनकम टैक्स देना होगा। यानी इस रकम पर 20 हजार टैक्स देय होगा। इसके बाद बचे सवा दो लाख रुपए। अब 7 लाख से ऊपर 10 लाख तक 10 प्रतिशत इनकम टैक्स देना होगा लिहाजा सवा दो लाख बची रकम पर 22,500 रु का टैक्स देना होगा। इस तरह टोटल टैक्स अमाउंट जोड़ें तो बनता है 42,500 रुपए। फिर इसमें चार प्रतिशत सेस का 1700 रुपया और जुड़ने पर कुल टैक्स राशि होगी 44,200 रुपए।
इस तरह से पिछले साल जहां राम ने 54,600 रुपए का टैक्स चुकाया,वहीं अब नई टैक्स स्लैब घोषणा के बाद राम को44,200 रुपए टैक्स देना होगा जिसके बाद उसे 10,400 रुपए की बजट होगी।