- प्रभारी देवेन्द्र यादव का बर्थडे भी है और इस बहाने नेताओं के जुटान में हालात पर चर्चा होगी
दिल्ली/देहरादून: पुरोला से कांग्रेस विधायक राजकुमार की बीजेपी में घर वापसी की खबर सुनकर भले पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल ने भगवान का शुक्रिया अदा किया हो लेकिन शीर्ष नेतृत्व ने इसे बेहद गंभीरता से ले लिया है। कांग्रेस सूत्रों ने खुलासा किया है कि पार्टी नेतृत्व ने तीनों वरिष्ठ नेताओं पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत, नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह और प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल को दिल्ली बुला लिया है। कैंपेन कमेटी के चीफ हरीश रावत शाम साढ़े चार बजे की फ्लाइट से दिल्ली जाएंगे जबकि प्रीतम और गोदियाल के दिल्ली पहुँचने की खबर है। कहा जा रहा है कि तीनों नेताओं की प्रदेश प्रभारी देवेन्द्र यादव के साथ बैठक और राष्ट्रीय महामंत्री (संगठन) वेणुगोपाल से भी मीटिंग हो सकती है।
दरअसल रविवार को जिस तरह से पुरोला (आरक्षित सीट) से कांग्रेस विधायक राजकुमार ने बीजेपी से घर वापसी की है उसने पार्टी नेतृत्व को सकते में ला दिया है। कांग्रेस नेतृत्व की चिन्ता उन खबरों से ज्यादा बढ़ी हुई है जिसके तहत कहा जा रहा है कि बीजेपी कई विधायकों से लेकर पूर्व विधायकों और 2022 के चुनाव में जिताऊ दिख रहे संभावित दावेदारों को लेकर सेंधमारी की रणनीति बना चुकी है।
कई और लोगों के टूटने की आशंका ने कांग्रेस आलाकमान के पसीने छुड़ा दिए हैं लेकिन जिस तरह से विधायक राजकुमार के जाने पर पीसीसी चीफ गणेश गोदियाल की पहली प्रतिक्रिया आई उससे यह मैसेज भी गया कि राज्य नेतृत्व के लेवल पर सेंधमारी रोकने की बहुत कारगर कोशिश भी नहीं की गई। पहले बीजेपी ने निर्दलीय विधायक प्रीतम सिंह पंवार को अपने पाले में लिया और फिर रविवार को कांग्रेस विधायक राजकुमार की घर वापसी करवाकर अपने इरादों का अंदाज दे दिया है।
अब कांग्रेस में हड़कंप है कि आखिर चुनाव से पहले ही शुरू हो चुके इस ऑपरेशन लोटस को कैसे रोका जाए और कहां तथा क्यों हरदा-प्रीतम-गोदियाल की तिकड़ी फेल साबित हो गई पार्टी विधायक को रोक पाने में इस पर आलाकमान जवाब लेगा।
इतना ही नहीं बिना टिकट बँटवारे की प्रक्रिया शुरू हुए पीसीसी चीफ गणेश गोदियाल द्वारा 36-37 टिकट कंफर्म बताने के बयान पर भी पार्टी जवाब मांग सकती है क्योंकि प्रीतम पहले ही इसे खारिज कर चुके हैं।
कांग्रेस सूत्रों का यह भी कहना है कि 2016-17 के बागियों की पार्टी में घर-वापसी के मुद्दे पर भी चर्चा हो सकती है। पिछले दिनों में जिस तरह से कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत और विधायक उमेश शर्मा काऊ के बयान आए उनसे कांग्रेस को उम्मीद जगी है लेकिन अभी बाग़ियों को लेकर हरदा और प्रीतम के ही मत भिन्न हैं लिहाजा पार्टी इस मुद्दे पर भी बहुत सँभल कर आगे बढ़ना चाहती है।