देहरादून: गोल्डन कार्ड की ख़ामियों के बावजूद वेतन अंशदान कटौती की मार झेलते आ रहे उत्तराखंड के तीन लाख कर्मचारियों और पेंशनरों को आखिरकार मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बड़ी सौगात दे दी है। गोल्डन कार्ड की ख़ामियों को दुरुस्त कर संशोधित जीओ जारी कर दिया गया है जिसके बाद अब उत्तराखंड के कार्मिकों व पेंशनर्स का देश के नामी-गिरामी अस्पतालों में आसानी से कैशलेस इलाज हो सकेगा। धामी सरकार ने कर्मचारियों और पेंशनरों के इलाज को अब अटल आयुष्मान योजना से भी अलग कर दिया है जिसकी मांग काफी समय से सचिवालय संघ, उतराखंड अधिकारी कार्मिक शिक्षक महासंघ सहित तमाम कार्मिक संगठन कर रहे थे।
अब कार्मिकों-पेंशनर्स को केन्द्र सरकार स्वास्थ्य योजना (CGHS) के माध्यम से कैशलेस इलाज मिलेगा लेकिन गोल्डन कार्ड और इलाज की सुविधा लेने के लिए आईटी सिस्टम पूर्व की तरह रहेगा।
सचिवालय संघ के अध्यक्ष और उत्तराखंड अधिकारी कार्मिक शिक्षक महासंघ के कार्यकारी अध्यक्ष दीपक जोशी ने राज्य सरकार द्वारा गोल्डन कार्ड पर जारी शासनादेश को ऐतिहासिक कदम करार देते कहा है कि युवा मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कार्मिक-शिक्षक व पेंशनर्स वर्ग की पीड़ा को गहराई से समझा और संवेदनशीलता दिखाकर समाधान का सार्थक प्रयास कर दिखाया। राज्य के दिग्गज कार्मिक नेता दीपक जोशी ने कह कि राज्य के समस्त कार्मिक-शिक्षक वर्ग ने करीब साल भर बिना गोल्डन कार्ड से चिकित्सा सुविधा पाए वेतन अंशदान कटौती की पीड़ा झेली है। जोशी ने कहा कि कुछ सक्षम अधिकारियों की हठधर्मिता के चलते संघ को काफी संघर्ष करना पड़ा लेकिन युवा मुख्यमंत्री ने हमेशा संवेदनशीलता दिखाकर नई आस जगाई और अब सफलता भी मिल गई है। जोशी ने उम्मीद जताई है कि अन्य लंबित मामलों में भी मुख्यमंत्री के सकारात्मक रुख से समाधान निकलेगा।
- गुरुवार को सचिव स्वास्थ्य अमित नेगी द्वारा शासनादेश जारी
- कर्मचारियों, पेंशनरों और आश्रितों की कैशलेस सुविधा अटल आयुष्मान योजना से अलग
- कर्मचारियों व पेंशनरों को राज्य सरकार स्वास्थ्य योजना (SGHS) में इलाज की सुविधा
केंद्र सरकार स्वास्थ्य योजना (CGHS) की दरों पर कैशलेस इलाज मिलेगा।
गोल्डन कार्ड और आईटी सिस्टम की व्यवस्था पूर्व की तरह लागू
- CGHS दरों पर बड़े अस्पतालों का किया जाएगा रजिस्ट्रेशन
- योजना में कर्मचारियों व पेंशनरों के लिए असीमित खर्च पर कैशलेस इलाज की सुविधा
- सरकार द्वारा CGHS दरें लागू करने के बाद अब बड़े अस्पतालों का किया जाएगा रजिस्ट्रेशन
- राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण के जरिए सूचीबद्ध 2700 से अधिक अस्पतालों में इलाज की सुविधा
- इमरजेंसी में नहीं होगी रेफर करने की शर्त
- प्रदेश के बाहर गैर सूचीबद्ध अस्पतालों में इलाज कराने के लिए कर्मचारियों व पेंशनरों को सूचीबद्ध अस्पतालों से रेफर करने की व्यवस्था।
- पर इमरजेंसी में इलाज के लिए रेफर की शर्त नहीं रहेगी
- ओपीडी इलाज पर चिकित्सा बिलों की होगी प्रतिपूर्ति
- SGHS में सूचीबद्ध अस्पतालों व गैर सूचीबद्ध अस्पतालों में ओपीडी इलाज पर कर्मचारियों व पेंशनरों को चिकित्सा बिलों की प्रतिपूर्ति CGHS दरों से
- कंसल्टेशन फीस, डायग्नोटिक्स, रेडियोलॉजी टेस्ट, मेडिसिन खर्च कर्मचारी व पेंशनर खुद उठाएंगे।
- NPS रिटायर कार्मिकों को सालाना अंशदान पर गोल्डन कार्ड मिलेगा
- NPS वाले कर्मचारियों का न्यूनतम 10 साल की सेवा के बाद रिटायर होने पर सालाना अंशदान देने पर गोल्डन कार्ड बन सकेगा
- 10 साल का अंशदान एक साथ जमा करने पर योजना का लाभ लेने की सुविधा होगी
- निगमों, बोर्डों, प्राधिकरणों के कर्मचारियों को चिकित्सा बिलों की प्रतिपूर्ति से भुगतान
कैशलेस इलाज के लिए प्रति माह अंशदान
श्रेणी अंशदान/प्रति माह
वेतन स्तर 1 से 5 250
वेतन स्तर 6 450
वेतन स्तर 7 से 11 650
वेतन स्तर 12 व अधिक 1000
ये हैं CGHS की दरें
श्रेणी बेड रोज/ रुपये में
वेतन स्तर 1 से 5 सामान्य 1000
वेतन स्तर 6 सेमी प्राइवेट 2000
वेतन स्तर 7 से 11 प्राइवेट 3000
वेतन स्तर 12 व अधिक डीलक्स 4000