दिल्ली/एजेंसी: न्यूज एजेंसी AFP के अनुसार काबुल में पाकिसान विरोधी रैली में बड़ी तादाद में लोगों खासतौर पर महिलाओं ने हिस्सा लिया और भारी भीड़ को डराने के लिए तालिबानी लड़ाकों ने हवाई फ़ायरिंग कर दी है। इसके बाद अफरा-तफ़री मच गई जिसमें बड़ी संख्या में महिलाओं और बच्चों के घायल होने की खबर है।
दरअसल तालिबान की पीठ पर पाकिस्तान और आईएसआई सवार होकर सारे खेल को अंजाम दे रहे। पंजशीर की लड़ाई में पाकिस्तान के इनवॉल्वमेंट और तालिबान की तरफ़दारी में खड़ा होने से अफ़ग़ानिस्तान में लोगों में गुस्सा बढ़ रहा है। अफ़ग़ानिस्तान में पिछले दो दिनों से गो बैक पाकिस्तान और आजादी-आजादी के नारे जोर पकड़ रहे हैं। मंगलवार को पाकिस्तानी दूतावास के बाहर बड़ी तादाद में महिलाएँ विरोध प्रदर्शन करने पहुँची और तालिबान ने हवाई फ़ायरिंग कर हालात बिगाड़ने का काम किया है।
काबुल में पाकिस्तान मुर्दाबाद के नारे लग रहे हैं। अफ़ग़ानी आरोप लगा रहे हैं कि पाकिस्तान अफ़ग़ानिस्तान में दखल दे रहा है और तालिबान उसी के इशारे पर नाच रहा है। यहाँ तक रिपोर्ट आ रही कि तालिबान की तरफ से आईएसआई की मंजूरी के बाद मुल्ला हसन अखुंद को प्रधानमंत्री बनाया जा रहा है। जबकि मुल्ला बरादर और मुल्ला याकूब को डिप्टी की ज़िम्मेदारी मिलेगी। आतंकी संगठन हक्कानी नेटवर्क के सिराज हक्कानी को भी बड़ा मंत्रालय दिया जा सकता है जो रक्षा मंत्रालय की मांग कर रहा है। कहा जा रहा है कि एकाध दिन में तालिबानी सरकार का चेहरा दुनिया के सामने आ सकता है।
पंजशीर में पाकिस्तान की दख़लंदाज़ी की ईरान ने निंदा करते हुए उसकी भूमिका की जांच करने की बात कही है। उधर रूस ने चिन्ता जाहिर करते हुए कहा है कि अफ़ग़ानिस्तान की जमीन से रूस और भारत के खिलाफ आतंकी मनसूबों को हवा दी जा सकती है।