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Uttarakhand News: उत्तराखंड की सियासत में यूपीसीएल एमडी अनिल कुमार यादव को मिले दो साल के एक्सटेंशन को लेकर मचा बवाल थमता नहीं दिख रहा है। अब इस विवाद में वरिष्ठ कांग्रेस नेता और पूर्व नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह भी कूद पड़े हैं। चकराता विधायक ने उत्तराखण्ड बेरोज़गार संघ के अध्यक्ष और टिहरी लोकसभा सीट से निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लड़े बॉबी पंवार पर तीखा हमला बोलते हुए युवा नेता की मंशा पर ही सवाल खड़े कर दिए हैं। ज्ञात हो कि हाल में बॉबी ने सचिवालय में धमक कर ऊर्जा सचिव डॉ आर मीनाक्षी सुंदरम के साथ यूपीसीएल एमडी को एक्सटेंशन देने को लेकर बहसबाजी और विवाद किया था जिसके बाद इस मामले में मुक़दमा भी दर्ज चुका है। अब प्रीतम सिंह ने प्रदेश में सेवा विस्तार के कई अन्य उदाहरण गिनाते हुए बॉबी पंवार की मंशा पर प्रश्न खड़े कर दिए हैं।
पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष प्रीतम ने सवाल दागा कि जब राज्य में मुख्य सचिव राधा रतूड़ी को दूसरी बार सेवा विस्तार मिल चुका है। प्रीतम ने कहा पीडब्ल्यूडी चीफ़ सेवा विस्तार पर हैं और इसी तर्क पर ऊर्जा विभाग के अन्य निगमों- पिटकुल और यूजेवीएनएल के चीफ़ सेवा विस्तार पा गये हैं तब अकेले यूपीसीएल एमडी अनिल कुमार यादव के एक्सटेंशन को ही क्यों लगातार मुद्दा बनाया गया।
प्रीतम ने माँग की है कि सरकार को इस मुद्दे की जाँच करनी चाहिए कि आख़िर बॉबी पंवार द्वारा लगातार अकेले यूपीसीएल एमडी एक्सटेंशन मुद्दे को क्यों उठाया जा रहा है? उन्होंने सवाल दागा कि क्या किसी नॉन टेक्निकल व्यक्ति को बॉबी पंवार यूपीसीएल का एमडी तो नहीं बनवाना चाहते हैं जिसकी जाँच होनी चाहिए।
हालाँकि प्रीतम सिंह ने कहा कि जब राज्य के युवाओं में बेरोज़गारी बढ़ रही हो तब सरकार द्वारा इस तरह सेवा विस्तार दिया जाना अनुचित है लेकिन इसके ख़िलाफ़ समग्रता से आवाज़ उठानी चाहिए ना कि सेलेक्टिव होकर कोई मुद्दा बनाया जाये।
ज़ाहिर है प्रदेश की सियासत में अभी ये सेवा विस्तार मामला और गर्मायेगा क्योंकि केदारनाथ में उपचुनाव की जंग छिड़ी हुई है। अब सवाल है कि क्या उत्तराखण्ड बेरोज़गार संघ के अध्यक्ष बॉबी पंवार कांग्रेस नेता प्रीतम सिंह के सवालों का कब जवाब देते हैं।
- सोशल मीडिया में आया बॉबी का ये जवाब
“उत्तराखंड सरकार को #मित्र_विपक्ष/विधायक जी की बात को गंभीरता से लेना चाहिए और तत्काल जांच के आदेश जारी कर देने चाहिए। कौन है वो नॉन टेक्निकल अधिकारी जो एमडी बनना चाहता है ? और एक जांच PMGSY के पूर्व चीप आरपी सिंह पर जिन्होंने नियमों को ताक पर रखकर लगभग #1000_करोड़ रुपए के 104 टेंडरों पर जिसमें हमने प्रेस वार्ता कर खुलासा किया और माननीय विधायक जी ने विधानसभा में इस प्रश्न को उठाया फिर एक कमेटी बनी परन्तु आज तक कमेटी की कोई #रिपोर्ट नहीं आई। मामला लम्बित है या #मैनेज हो गया ? ऐसा मित्र विपक्ष यदि प्रदेश को मिल रहा है तो मैं समझता हूं कि प्रदेश बड़ी तेजी से तरक्की करेगा । सरकार साक्ष्यों के आधार पर एमडी अनिल कुमार यादव और अन्य विभागों में भी सेवा विस्तार ले चुके अधिकारियों को हटाकर उनकी #सम्पत्ति की #सीबीआई_जांच करवाएं।”