देहरादून: उत्तराखंड की कैबिनेट मंत्री रेखा आर्य ने बुधवार को विधानसभा मे प्रेस कॉन्फ्रेंस कर जानकारी दी कि महिला सशक्तिकरण और बाल विकास विभाग 26 जुलाई को कांवड़ यात्रा निकालेगी, जो हर की पैड़ी से संतों का आशीर्वाद लेकर 25 किलोमीटर दूर 1300 साल पुराने वीर भद्र मंदिर पर जलाभिषेक कर समाप्त होगी। इस कांवड़ यात्रा का संदेश राज्य मे लैंगिक असमानता को खत्म करने के लिए किया जा रहा है।
मंत्री रेखा आर्य ने कहा कि उत्तराखंड को देवभूमि कहा जाता परंतु राज्य में धारी देवी, चम्पावती मंदिर, दुर्गा व अन्य देवियों के भी मंदिर हैं। इसलिए राज्य को देवीभूमि भी बनाना है। रेखा आर्य ने कहा कि समाज में हम महिलाओं को बराबर का स्थान देने की बात करते है लेकिन महिलाओं को जन्म लेने के लिए भी लड़ाई लड़नी पड़ती है। समाज को लड़कियों के पैदा होने पर होने वाले अफसोस पर विचार करना होगा।
मुख्यमंत्री के ड्रीम प्रोजेक्ट जिसमें 2025 तक उत्तराखंड को सबसे अच्छे राज्य के रूप मे विकसित करने के लक्ष्य में महिला सशक्तिकरण और बाल विकास विभाग अपनी भूमिका निभाते हुए 2025 तक लैंगिक असमानता को खत्म करेगा।
अभी प्रदेश में 1000 बालकों पर 950 बालिकाएं हैं। इस असमानता को खत्म कर 1000 बालिकाओं का लक्ष्य रखा गया है। मंत्री ने कहा कि विभाग अपने लक्ष्य को पूरा करने के लिए कार्ययोजना तैयार कर रहा है। इसी दिशा में विभाग एक हेल्पलाइन नम्बर भी जारी करेगा जिसमें भ्रूण हत्या और भ्रूण के लिंग की जानकारी करने जैसे अपराधों की शिकायत करने वालो को पारितोषिक भी दिया जाएगा।