देहरादून: उत्तराखंड कांग्रेस के शीर्ष नेता और पार्टी की केंद्रीय चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत, विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता प्रीतम सिंह आज राज्य निर्माण आंदोलनकारियों के मुख्यमंत्री आवास कूच में शामिल हुए। कांग्रेस नेताओं ने खुलकर आंदोलनकारियों की 9 सूत्री मांगों को समर्थन दिया। कांग्रेस के उपाध्यक्ष और पार्टी के प्रवक्ता धीरेंद्र प्रताप ने यह जानकारी देते हुए बताया कि यही नहीं दोनों नेताओं ने इस प्रदर्शन में शामिल हजारों लोगों को यह विश्वास भी दिलाया कि अगर कांग्रेस की सरकार 2022 में शासन में आती है तो आंदोलनकारी आरक्षण, बाकी बचे आंदोलनकारियों का चिन्हीकरण, गैरसैंण को स्थाई राजधानी बनाने, भू कानून में व्यापक परिवर्तन कर उसे उत्तराखंड की आवश्यकता के अनुकूल बनाने, निरस्त किए गए आंदोलनकारियों की नौकरियां बहाल किया जाना जैसे सवालों पर भी दोनों नेताओं ने आंदोलनकारियों की मांगों का पुरजोर समर्थन किया। कहा कि जैसे ही कांग्रेस शासन में आएगी आंदोलनकारियों की तमाम मांगों को पूरा किया जाएगा।
हरीश रावत ने तो यहां तक कहा कि आंदोलनकारियों की पेंशन में बढ़ोतरी होनी चाहिए और कांग्रेस की सरकार आते ही यह सुनिश्चित किया जाएगा। प्रीतम सिंह ने अपने संबोधन में कहा कि वे विपक्ष के नेता हैं और 23 तारीख से राज्य विधानसभा का सत्र प्रस्तावित है। 23 को डॉ इंदिरा ह्रदयेश की मृत्यु की वजह से सदन नहीं चल पाएगा। परंतु 24 अगस्त को सबसे पहला मुद्दा राज्य आंदोलनकारियों का ही विधानसभा में उठाएंगे और सरकार पर दबाव बनाएंगे कि निरस्त की गई आंदोलनकारियोें की नौकरियों के मुद्दे पर सरकार उनकी पैरवी के लिए सुप्रीम कोर्ट जाए।
राज्य सरकार के मंत्री गणेश जोशी, धीरेंद्र प्रताप, रविंद्र जुगरान, वीरेंद्र पोखरियाल, जगमोहन नेगी, मनीष कुमार, नरेंद्र सेठिया ,प्रदीप कुकरेती, प्रभात ध्यानी, मोहन सिंह रावत, अवतार सिंह बिष्ट, बाल गोविंद डोभाल, डॉ विजेंद्र पोखरियाल समेत अनेक नेताओं ने संबोधित किया। सभी ने एक स्वर में आंदोलनकारियों की मांगों की पूर्ति होने में देरी पर नाराजगी व्यक्त की है।
राज्य सरकार के मंत्री गणेश जोशी ने इस मौके पर आंदोलनकारियों से कल शाम 7:00 बजे तक का समय मांगा और कहा कि कल शाम 7:00 बजे मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से मिलवाने के लिए आंदोलनकारियों को मुख्यमंत्री आवास ले जाएंगे। अधिकांश आंदोलनकारियों की राय थी कि सरकार की तरफ से कोई प्रस्ताव आता है तो अधिकारियों को इस पर विचार करना चाहिए इधर धीरेंद्र प्रताप ने कहा कि सरकार का जो प्रस्ताव है वह अच्छा प्रस्ताव है और बड़ी से बड़ी समस्याओं का निदान अंत में बातचीत के माध्यम से ही होता है। उन्होंने कहा कि 9 सूत्री ज्ञापन आज राज्य आंदोलनकारियों की मांगों का सबसे बड़ा दर्पण है और सरकार को चाहिए कि उसे इन मांगों को बेझिझक तत्काल पास कर देना चाहिए। इससे पहले हजारों आंदोलनकारी दिलाराम चौक पर एकत्रित हुए और सरकार विरोधी नारे लगाते हुए मुख्यमंत्री आवास पर गए यहां पर पुलिस ने उन्हें रोक लिया।
राज्य आंदोलनकारियोें का CM आवास कूच, गिरफ़्तारी पर भड़के, कांग्रेस ने राज्य निर्माण आंदोलनकारियों की गिरफ्तारी की निंदा की
उत्तराखंड कांग्रेस चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष हरीश रावत, प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह और उपाध्यक्ष धीरेंद्र प्रताप ने आज मुख्यमंत्री आवास के घेराव के दौरान राज्य निर्माण आंदोलनकारियों की गिरफ्तारी किए जाने की कड़ी निंदा की है।
पार्टी के शीर्ष नेताओं की ओर से जारी बयान में पार्टी के वरिष्ठ प्रवक्ता धीरेंद्र प्रताप ने कहा कि राज्य आंदोलनकारी जब गांधीवादी ढंग से सत्याग्रह कर रहे हैं तो उनकी गिरफ्तारी का कोई औचित्य दिखाई नही देता। उन्होंने इसे राज्य निर्माण आंदोलनकारियों का उत्पीड़न बताया।
धीरेंद्र प्रताप ने कहा कि एक और तो भारतीय जनता पार्टी के नेताओं को भाई भतीजावाद फैलाकर तीलू रौतेली पुरस्कार से सम्मानित करके पुरस्कृत और उपकृत किया जा रहा है। जबकि राज्य निर्माण आंदोलन करने वाले राज्य आंदोलनकारियों को गिरफ्तार करके उन्हें अपमानित किया जा रहा है ।उन्होंने राज्य सरकार के इस कृत्य की घोर भर्त्सना करते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से भाजपा सरकार के इस कृत्य के लिए सार्वजनिक रूप से माफी मांगने को कहा है।धीरेंद्र प्रताप ने कहा कि कांग्रेस राज्य निर्माण आंदोलनकारियों के साथ हैं ।जब भी सरकार आएगी राज्य आंदोलनकारियों के तमाम मुकदमे तो वापस लिए ही जाएंगे उनकी सारी मांगे भी पूरी की जाएगी ।